देश के विख्यात माइक्रो आर्टिस्ट व इंटरनेशनल ह्यूमन राइट्स एंड एंटी क्राइम अर्गनाइजेशन के संस्थापक चैयरमेन सामाजिक कार्यकर्ता रमेश साह को युनिवर्सिटी ऑफ न्यू जेरुसलेम मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल (वेल्लोर तामिलनाडु) डाक्टरेट की उपाधि से सम्मानित किया गया.
दार्जिलिंग के मिरीक में जन्में रमेश साह और सिलीगुड़ी समर नगर निवासी, एक जाने-माने सामाजिक कार्यकर्ता हैं । उन्होंने माइक्रो आर्ट के क्षेत्र में भी उल्लेखनीय योगदान दिया है। माइक्रो आर्ट में पांच विश्व रेकार्ड्स भी उन्होंने हासिल किया है लेकिन इतने बड़े योगदान के बावजूद उन्हें राज्य सरकार ने अभी तक उपेक्षित रखा है। साधारण से दिखने वाले रमेश साह का जीवन को देखा जाए तो उन्होंने काफी संघर्ष करके इस मुकाम तक पहुंचने में सफल हुए हैं।
मानवाधिकार संगठन के द्वारा उनके द्वारा पीड़ित और उपेक्षित लोगों की सेवा सराहनीय रहा है। सम्मान पाकर लौटने के बाद रमेश साह ने बताया कि सेवा और राष्ट्र प्रेम की भावना से ही देश आगे बढ़ेगा अतः गरीब लाचार और उपेक्षित लोगों की सेवा करते रहना चाहिए। सेवा से बड़ा को धर्म नहीं हो सकता। रमेश साह के सम्मान मिलने से शहर के निवासियों में भी हर्ष है !